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पटना : बिहार हिन्दी साहित्य सम्मेलन कदमकुआं, पटना का 41 वाँ महाधिवेशन 2 – 3 अप्रैल को सम्पन्न हुआ। महाधिवेशन के अध्यक्ष श्री अनिल सुलभ, उद्घाटन मुख्य अतिथि पटना उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश माननीय न्यायमूर्ति श्री संजय करोल, माननीय न्यायमूर्ति श्री संजय कुमार एवं अंतरराष्ट्रीय संबंधों के लब्धप्रतिष्ठ विशेषज्ञ वरिष्ठ पत्रकार और चिंतक श्री वेद प्रताप वैदिक जी के करकमलों से संयुक्त रूप से हुआ।

हिंदी भाषा एवं साहित्य की उन्नति में मूल्यवान सेवाओं के लिए बिहिया की हिन्दी तथा भोजपुरी की लेखिका नीतू सुदीप्ति ‘नित्या’ को डॉ. मिथिलेश कुमारी मिश्र साहित्य साधना सम्मान से सम्मानित किया गया। अंतराष्टीय ख्याति के वरिष्ठ पत्रकार वेदप्रताप वैदिक, उपाध्यक्ष केन्द्रीय हिन्दी संस्थान ( दिल्ली ) अनिल शर्मा जोशी और प्रखर वक्ता वीरेंद्र यादव ने संयुक्त रूप से नीतू सुदीप्ति को अंग वस्त्र और सम्मान – पत्र देकर विभूषित किया।

 

ज्ञात हो कि हिन्दी – भोजपुरी की लेखिका नीतू सुदीप्ति ‘नित्या’ विगत 25 वर्षों से साहित्य साधना में लगी हैं। अभी तक इनकी तीन पुस्तकें प्रकाशित हुई हैं। हमसफ़र और छँटते हुए चावल (हिन्दी कथा संग्रह) भोजपुरी उपन्यास विजय पर्व तथा एक संपादित काव्य संग्रह चमन-चमन के फूल। पिछले वर्ष छँटते हुए चावल को मथुरा में श्रीमती सरला देवी दीक्षित स्मृति पुरस्कार मिला था। इस वर्ष फरवरी माह में मोतीहारी में आयोजित अखिल भारतीय भोजपुरी साहित्य सम्मेलन के 26 वें अधिवेशन में बहुचर्चित भोजपुरी उपन्यास ‘विजय पर्व’ को अभय आनंद पुरस्कार मिला है।

वर्तमान में नीतू सुदीप्ति ‘नित्या’ sahityaprit.com ( साहित्यप्रीत डॉट कॉम ) की संस्थापक और संपादक हैं। तथा दो यू ट्यूब चैनल साहित्यप्रीत और श्री दुर्गा डांस म्यूजिक की संचालक हैं।

नीतू सुदीप्ति को सम्मानित होने पर साहित्यकारों भगवती प्रसाद द्विवेदी,  विजयनन्द विजय, सिद्धेश्वर, ब्रज भूषण मिश्र, जयकान्त सिंह जय, पुष्पा जमुआर, अलका मित्तल, स्मिता, नरेंद्र कौर छाबड़ा, सुरेन्द्र कौर बग्गा, शंभु सुमन और अरुण निशंक आदि ने बधाई दी है।

  • संवाददाता

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